Lord’s Test: Root के 99* के बाद Smith का पलटवार, Shubman Gill ने England के खेल को बताया ‘Boring Test Cricket’!

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London, Lord’s: एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी के लिए चल रही इस जंग का तीसरा टेस्ट मैच अपने पूरे रोमांच पर है। लॉर्ड्स के ऐतिहासिक मैदान पर इंग्लैंड ने भारत पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। पहले दिन Joe Root के क्लासिक 99* रनों की बदौलत एक मज़बूत नींव रखने के बाद, दूसरे दिन इंग्लैंड के lower-order ने एक शानदार ‘fightback’ किया, जिसे लीड कर रहे हैं Jamie Smith। लेकिन इस मैच की कहानी सिर्फ स्कोरबोर्ड के आंकड़ों तक सीमित नहीं है। यह कहानी है दो महान तेज गेंदबाजों की वापसी की, और भारतीय खेमे की उस बेचैनी की जो Shubman Gill के एक बयान में साफ़ झलकती है, जिन्होंने इंग्लैंड के खेल को ‘boring Test cricket’ कह डाला।

Day 1: Root का Masterclass या Gill की नज़र में ‘Boring’ खेल?

गुरुवार को जब इंग्लैंड ने टॉस जीतकर बल्लेबाज़ी शुरू की, तो दिन का खेल खत्म होने तक स्कोरबोर्ड 251/4 था। यह स्कोर अपने आप में एक कहानी कहता है। एक तरफ थे Joe Root, जो एक छोर पर चट्टान की तरह डटे रहे और 99 रनों पर नाबाद लौटे। उनके साथ कप्तान Ben Stokes भी 39 रन बनाकर क्रीज़ पर थे। यह एक ऐसी पार्टनरशिप थी जिसने भारत को दिन में हावी होने का मौका नहीं दिया। भारतीय गेंदबाज़ Nitish Reddy ने 46 रन देकर 2 विकेट ज़रूर लिए, लेकिन वे इंग्लैंड को पूरी तरह से बैकफुट पर नहीं धकेल पाए।

इस धीमी और सधी हुई बल्लेबाज़ी पर भारतीय बल्लेबाज़ Shubman Gill ने एक तीखी टिप्पणी की। उन्होंने इसे ‘बोरिंग टेस्ट क्रिकेट’ की वापसी बताया, जो शायद इंग्लैंड की नई ‘Bazball’ philosophy के विपरीत था। Gill का यह बयान दिखाता है कि भारतीय टीम इंग्लैंड के इस traditional approach से frustate हो रही थी। हालांकि, पूर्व दिग्गज Kumble जैसे विशेषज्ञों ने इसे एक सोची-समझी रणनीति और Root का masterclass माना, जिन्होंने मुश्किल परिस्थितियों में अपनी टीम के लिए एक मज़बूत आधार तैयार किया। यह बहस का विषय हो सकता है कि यह ‘boring’ था या ‘brilliant’, लेकिन इसमें कोई शक नहीं कि यह इंग्लैंड के लिए बेहद ‘effective’ था।

Day 2: Jamie Smith का पलटवार और England का दबदबा

अगर पहला दिन धैर्य और संयम का था, तो दूसरे दिन की कहानी पलटवार की रही। भारत को उम्मीद थी कि वे सुबह के सेशन में इंग्लैंड के बाकी बल्लेबाज़ों को जल्दी समेट देंगे। लेकिन Jamie Smith और Brydon Carse ने इन उम्मीदों पर पानी फेर दिया। Smith ने एक शानदार काउंटर-अटैकिंग पारी खेली। लाइव स्कोरकार्ड के अनुसार, उन्होंने महज़ 47 गेंदों पर 43 रन बना डाले थे, जिसमें 5 चौके शामिल थे। उनका साथ Brydon Carse ने भी बखूबी दिया, जो 54 गेंदों पर 28 रन बनाकर क्रीज़ पर थे।

इस lower-order recovery ने भारत की मुश्किलें कई गुना बढ़ा दी हैं। जो स्कोर 300 के आसपास रुकता दिख रहा था, वह अब 350-400 की ओर बढ़ रहा है। टेस्ट क्रिकेट में निच क्रम के बल्लेबाज़ों द्वारा बनाए गए रन हमेशा विरोधी टीम को सबसे ज़्यादा चुभते हैं, क्योंकि यह उनके गेंदबाजों के मनोबल को तोड़ता है और पहली पारी में एक ऐसी बढ़त दिलाता है, जिससे पार पाना मुश्किल हो जाता है। Jamie Smith की यह पारी इंग्लैंड को इस मैच में driving seat पर बैठा चुकी है।

Comeback Kings: Lord’s में Archer और Bumrah की वापसी

यह टेस्ट मैच सिर्फ रनों और विकेटों के लिए नहीं, बल्कि दो ‘Comeback Kings’ के लिए भी याद किया जाएगा। इंग्लैंड के लिए, Jofra Archer की वापसी किसी चमत्कार से कम नहीं है। पीठ और कोहनी की गंभीर चोटों के कारण चार साल से ज़्यादा समय तक टेस्ट क्रिकेट से दूर रहने के बाद, आर्चर की वापसी को BBC ने ‘remarkable’ बताया है। उन्होंने अपना आखिरी टेस्ट इंग्लैंड में ‘कोविड बबल’ के दौर में खेला था। उनकी 90 मील प्रति घंटे की रफ़्तार वाली गेंदें देखना दर्शकों के लिए एक अलग ही रोमांच है, और भारतीय बल्लेबाज़ों के लिए यह एक बहुत बड़ी चुनौती होगी, खासकर Rishabh Pant जैसे आक्रामक खिलाड़ी के लिए जिन पर सबकी नज़रें होंगी।

दूसरी तरफ, भारत के लिए Jasprit Bumrah की वापसी भी उतनी ही अहम है। बुमराह की मौजूदगी भारतीय पेस अटैक को एक अलग ही स्तर पर ले जाती है। इस मैच में दुनिया के दो सर्वश्रेष्ठ तेज गेंदबाजों को एक-दूसरे के खिलाफ देखना क्रिकेट प्रेमियों के लिए किसी सौगात से कम नहीं है। इस सीरीज़ में एक ‘crucial lead’ हासिल करने के लिए इन दोनों खिलाड़ियों का प्रदर्शन निर्णायक साबित होगा।

आगे की राह: दबाव में Team India

अब मैच पूरी तरह से इंग्लैंड के पक्ष में झुकता दिख रहा है। इंग्लैंड एक बड़े पहली पारी के स्कोर की ओर बढ़ रहा है, जो भारतीय बल्लेबाज़ों पर भारी मनोवैज्ञानिक दबाव डालेगा। लॉर्ड्स की पिच पर, जहां गेंद हमेशा कुछ न कुछ करती है, Jofra Archer और उनकी टीम के खिलाफ एक बड़े स्कोर का पीछा करना आसान नहीं होगा।

Shubman Gill की ‘बोरिंग’ वाली टिप्पणी अब भारतीय टीम पर ही भारी पड़ती दिख रही है। इंग्लैंड ने दिखाया है कि टेस्ट क्रिकेट सिर्फ ‘Bazball’ नहीं है, बल्कि यह परिस्थितियों के अनुसार खेलने और मैच जीतने की कला है। अब गेंद पूरी तरह से भारतीय बल्लेबाज़ों के पाले में है। उन्हें यह साबित करना होगा कि वे इस दबाव को झेल सकते हैं और अपनी टीम को मैच में वापस ला सकते हैं। अगर वे ऐसा करने में नाकाम रहते हैं, तो इंग्लैंड इस सीरीज़ में एक निर्णायक बढ़त हासिल कर लेगा।

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